आज सुबह (05.11.2019) से फेसबुक पर और अन्य सोशल
मीडिया पर माननीया बहन जी की श्री गणेश के साथ फोटो बहुत ही जोर-शोर से वायरल
की जा रही है, लेकिन उन भोले-भाले लोगों को इतना तक नहीं पता हैं कि वह फोटो
एडिटेड है।
सॉफ्टवेयर के जरिये एडिट करके किसी के बगल में किसी व्यक्ति को
भी खड़ा किया जा सकता है, किसी भी प्रकार का फोटो लगाया जा सकता है, किसी भी
प्रकार का फोटो बनाया जा सकता है। लेकिन इससे अन्जान या फिर कुछ ब्राह्मणी
रोग से संक्रमित अपने ही समाज के लोगों द्वारा अपने ही समाज पर, अपने
समाज की नेत्री पर कीचड़ उछालने का एक बहाना चाहिए। जहां तक हमें जानकारी है,
माननीय बहन जी के निजी आवास से लेकर के प्रदेश कार्यालय एवं केंद्रीय कार्यालयों
तक में सिर्फ और सिर्फ बहुजन महापुरुषों की भव्य मूर्तियां, चित्रकला व
प्रतिमाये स्थापित हैं, ना कि किसी भी देवी-देवता की फोटो या मूर्तियां। लेकिन जो
तथाकथित अपने आप को असली अंबेडकरवादी कहने वाले लोग हैं आज वो माननीया बहन जी
की फोटो के साथ में अशोभनीय शब्दों का प्रयोग कर बहुजन महानायिका पर टिप्पणी
कर रहे हैं। ऐसे लोग खुद की निजी जिन्दगी में झांक देखे कि क्या ऐसे लोग खुद और
उनका परिवार वाकई बुद्ध व बाबा साहब को मानते हैं? उनके
रिश्तेदार आदी क्या बुद्ध और बाबा साहब को मानते हैं? आज तक उन्होंने
कितने लोगों को बाबा साहब एवं तथागत गौतम बुद्ध के बारे में बताया, कितने लोगों को
तथागत गौतम बुद्ध और बाबा साहब के बताए हुए मार्ग पर चलना सिखाया। फ़िलहाल जो खुद
बुद्ध और बाबा साहेब को समझ नहीं सके हैं उनसे ऐसी उम्मीद करना ही गलत हैं।
हमारा मानना हैं कि किसी पर टिप्पणी करना बहुत आसान है, किसी को
सवालों के घेरे में लाकर खड़ा करना बहुत आसान है, किसी का विरोध करना बहुत आसान
है, लेकिन जब खुद पर ऐसी समस्याएं हावी होती हैं, तो उन समस्याओं से निजात पाकर के
सही रास्ते तक पहुंचना कितना मुश्किल होता है।
आज जितने भी लोग माननीय बहन जी पर छींटाकशी कर रहे हैं। उनके घर से
कितनी बहन-बेटियां या माताएं समाज सेवा के लिए सदैव तैयार रहती हैं या उन्होंने
स्वयं अपनी बहन-बेटी को समाज सेवा के लिए छोड़ दिया हो कि घर से बाहर कि आप
जाइए आपका घर से कोई लेना-देना नहीं है, आज से आप समाज सेवा करेंगी, आपका जो भी
जीवन है, वह समाज के लिए न्यौछावर करिए। है कोई व्यक्ति जिसने अपने घर की
बहन-बेटियों के लिए ऐसे शब्द कह करके अपने घर की बहन-बेटियों की कुर्बानी दी हो।
माननीय बहन जी का अब तक का 40 साल से अधिक का सफर जिस तरीके से
वो जी रही है। विरोधी तो तंज कसते ही रह जाते है लेकिन अपने समाज के लोग ज्यादा
टिप्पणियां कर रहे हैं । जो कि बहुत ही ओछी मानसिकता का प्रमाण है।
आज लोग इतने जागरूक हो गए हैं, समय बदल गया है, फिर भी बहन-बेटियों
का घर से निकलना मुश्किल है। यदि किसी के घर की बहन बेटी घर से बाहर सामाजिक
कार्य करने के लिए निकलती है। तो उस पर गलत-गलत लांछन लगाए जाते हैं, गलत-गलत आरोप
लगाकर बदनाम किया जाता है।
कोई आइटम कहता है, तो कोई जानू कहता है, शर्म आनी चाहिए आप लोगों को,
खासकर उन महिलाओं को जो आज बहन जी पर टिप्पणी कर रही है। शायद वह भूल गई है कि यदि
आज उनकी आवाज बुलंद है तो वह भी माननीया बहन जी की ही से वजह। हमें
कहना नहीं चाहिए था लेकिन फिर भी सुबह से देखा नहीं गया पोस्ट पर पोस्ट आ रही
है। इसलिए लिखने पर मजबूर हो गए। आज हम भी इन सबसे नहीं बच पाए है, लोग हम पर
भी गलत-गलत लांछन लगाते हैं। लेकिन फिर भी हम अपने कार्य
के प्रति सदैव तत्पर रहते है, आगे भी रहेंगे, विरोधियों का क्या? वह तो हमेशा हर
किसी का विरोध करते आए हैं, हमारा करना कौन सी नई बात है। लेकिन हम अपना
विरोध बर्दाश्त कर सकते हैं। हमारी नेता का कोई विरोध करें हरगिज बर्दाश्त नहीं
करेंगे, हर बात का जवाब दिया जायेगा।
अमिता अम्बेडकर
05.11.2019